अजित पवार का यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ पर पलटवार, कहा- “बंटेंगे तो कटेंगे” का नारा महाराष्ट्र में नहीं चलेगा
महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम और एनसीपी प्रमुख अजित पवार ने यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ के “बंटेंगे तो कटेंगे” नारे पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है। बीड में एक रैली के दौरान अजित पवार ने कहा कि इस तरह की बातें यूपी में भले ही कारगर हो सकती हैं, लेकिन महाराष्ट्र में ऐसा नहीं चलेगा। उन्होंने महाराष्ट्र की सांस्कृतिक विरासत और सद्भाव का हवाला देते हुए कहा कि यहां शिवाजी महाराज, शाहूजी महाराज, आंबेडकर और फुले के विचारों का प्रभाव है, और वे इस राज्य की एकता व विविधता को बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध हैं।
अजित पवार ने मुस्लिम समाज का समर्थन करते हुए स्पष्ट किया कि उनकी सरकार किसी भी प्रकार के भेदभाव को बढ़ावा नहीं देती और सभी समुदायों की भावनाओं का आदर करती है। उन्होंने बताया कि उन्होंने मुस्लिम समाज को 10 फीसदी सीटें दी हैं, जिनमें से कई पर मजबूत उम्मीदवारों को चुना गया है। उन्होंने नवाब मलिक, नजीब मुल्ला, सना मलिक, और ज़ीशान सिद्दीक़ी जैसे कई मुस्लिम नेताओं को टिकट दिया, और उनके प्रचार के लिए भी व्यक्तिगत रूप से समर्थन दिया।
अजित पवार ने योगी आदित्यनाथ के बयान पर असहमति जताते हुए कहा कि महाराष्ट्र शिवाजी, आंबेडकर और शाहूजी महाराज की धरती है, जहां जाति और धर्म के नाम पर विभाजन का समर्थन नहीं किया जाता। उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र की राजनीति में भेदभाव को स्थान नहीं है, और यह राज्य सदा से सांप्रदायिक सौहार्द का प्रतीक रहा है।
उन्होंने महायुति के बारे में भी स्पष्ट किया कि भले ही वे गठबंधन में हैं, लेकिन उनकी पार्टियों की विचारधारा अलग-अलग है। महाराष्ट्र में सरकार साझा न्यूनतम कार्यक्रम के आधार पर चल रही है ताकि राज्य और देश का विकास हो सके।
इस बयान से स्पष्ट है कि अजित पवार ने महाराष्ट्र की सांस्कृतिक विरासत और एकता को कायम रखने का संदेश दिया है, और बाहरी नेताओं को यहां के हालात को समझने की सलाह दी है।