विदेशों में भाईचारा, और देश में बटोगे तो कटोगे का नारा! नफरतों का ज़हर घोल रहे हैं मोदी? –दिग्विजय सिंह
कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कुवैत में दिए गए हालिया भाषण पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। रविवार को सोशल मीडिया पर एक पोस्ट के माध्यम से उन्होंने प्रधानमंत्री पर भारत में हिंदुओं और अल्पसंख्यकों के बीच घृणा फैलाने का आरोप लगाया। सिंह ने कहा कि घृणा का प्रसार करना आसान है, लेकिन उसे नियंत्रित करना बेहद कठिन हो जाता है।
विदेश में “विश्व बंधुत्व,” भारत में “विभाजन की राजनीति”: दिग्विजय सिंह
दिग्विजय सिंह ने अपने पोस्ट में लिखा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी, आपका कुवैत का भाषण सराहनीय है, लेकिन मैं आपके सबसे बड़े आलोचकों में से एक हूं। आपने भारत में हिंदुओं और अल्पसंख्यकों के बीच जो घृणा फैलाई है, उसे नियंत्रित करना अब मुश्किल हो गया है। आपने राजधर्म निभाने के बजाय बच्चों और युवाओं में घृणा का ज़हर भर दिया है।”
उन्होंने आगे कहा कि प्रधानमंत्री इस्लामिक देशों में “विश्व बंधुत्व” की बात करते हैं, लेकिन भारत में “हिंदुत्व” के नाम पर विभाजन की राजनीति को बढ़ावा देते हैं। सिंह ने सावरकर के एक कथन का हवाला देते हुए कहा, “हिंदुत्व का हिंदू धर्म या सनातन धर्म से कोई लेना-देना नहीं है।”
प्रधानमंत्री से “शांति और एकता” का संदेश फैलाने की अपील
दिग्विजय सिंह ने प्रधानमंत्री मोदी से भारत में भी शांति और एकता का संदेश फैलाने की अपील की। उन्होंने कहा, “राहुल गांधी का ‘नफरत छोड़ो, भारत जोड़ो’ का संदेश देश में फैलाएं और सनातन धर्म के ‘वसुधैव कुटुंबकम’ के विचार को जन-जन तक पहुंचाएं।”
राजनीतिक बहस गरमाई
दिग्विजय सिंह के इस बयान ने राजनीतिक गलियारों में हलचल मचा दी है। जहां कांग्रेस इसे “सच्चाई उजागर करने” की कोशिश बता रही है, वहीं भाजपा ने इस पर पलटवार करते हुए इसे “राजनीतिक अवसरवादिता” करार दिया है।
प्रधानमंत्री के कुवैत दौरे और दिग्विजय सिंह के बयान के बाद यह मुद्दा राजनीतिक और सामाजिक बहस का केंद्र बन गया है। आगे इस पर भाजपा और कांग्रेस के बीच तकरार और तेज होने की संभावना है।