नासिक : बदलापुर यौन उत्पीड़न मामले में मुख्य आरोपी अक्षय शिंदे की मुंब्रा में पुलिस मुठभेड़ में मौत हो गई है। घटना के अनुसार, अक्षय शिंदे ने पुलिस की बंदूक छीनकर एक पुलिस कर्मचारी पर गोली चलाई, जिसके बाद पुलिस ने आत्मरक्षा में गोलीबारी की, जिससे अक्षय की मौत हो गई। यह मुठभेड़ तब हुई जब पुलिस उसे बदलापुर यौन उत्पीड़न मामले में गिरफ्तार करके ले जा रही थी।
इस एनकाउंटर के बाद राजनीतिक विवाद छिड़ गया है। विपक्षी नेता संजय राउत ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस पर गंभीर सवाल उठाए हैं। राउत ने कहा कि यह एनकाउंटर संदेहास्पद है और इसमें कुछ न कुछ छुपाया जा रहा है। उन्होंने आरोप लगाया कि देशभर में होने वाले कई एनकाउंटर के पीछे सच्चाई छिपी रहती है, और इस मामले में भी ऐसा ही हो सकता है।
संजय राउत ने यह भी कहा कि जब यह घटना हुई, तब बदलापुर की जनता आरोपी को सौंपने की मांग को लेकर सड़कों पर उतर आई थी। लोगों ने रेलवे बंद कर दी, सड़कें जाम कर दीं और मंत्रियों का घेराव किया। उनका कहना था कि जनता आरोपी को फांसी पर लटकाने की मांग कर रही थी। लेकिन सरकार ने कहा कि कानून का राज है और आरोपी के खिलाफ फास्ट ट्रैक कोर्ट में मुकदमा चलाया जाएगा। अगले ही दिन पुलिस ने आंदोलन कर रहे लोगों पर मामले दर्ज कर लिए।
राउत ने आरोप लगाया कि आरोपी अक्षय शिंदे ने पुलिस पूछताछ में कुछ महत्वपूर्ण खुलासे किए थे, जिससे कुछ प्रभावशाली लोगों को बचाने की कोशिश हो रही है। उनके अनुसार, इन खुलासों के कारण ही अक्षय का एनकाउंटर किया गया। उन्होंने यह भी कहा कि महाराष्ट्र में कई एनकाउंटर हुए हैं, और इनमें से अधिकांश संदिग्ध होते हैं।
संजय राउत ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे पर निशाना साधते हुए कहा कि “एक शिंदे ने दूसरे शिंदे का एनकाउंटर किया है। अब जनता दूसरे शिंदे का एनकाउंटर करेगी।” उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि जब अजित पवार से संबंधित मामले पर सुनवाई हो रही थी, तो न्यायाधीश हास्य-विनोद कर रहे थे, जिससे न्याय की उम्मीदें कम हो गई हैं।
कुल मिलाकर, इस एनकाउंटर ने राज्य की राजनीति में एक बड़ा विवाद खड़ा कर दिया है, और विपक्ष सरकार पर सवाल उठा रहा है कि इस मामले में निष्पक्षता से काम किया गया है या नहीं।