गुलाम नजमी फारूकी का ओवैसी पर पलटवार: भगवा सूफी रंग का अपमान, चिश्ती समुदाय से बहिष्कार की अपील
Ajmer Dargah News
एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी द्वारा दिए गए बयान पर विवाद बढ़ता जा रहा है, जिसमें उन्होंने ऑल इंडिया सूफी सज्जादानशीन काउंसिल (AISSC) के राष्ट्रीय सचिव गुलाम नजमी फारूकी को “रंग-बिरंगा जोकर” कहा था। यह बयान सोशल मीडिया पर काफी वायरल हो गया, जिसके बाद गुलाम नजमी फारूकी ने प्रतिक्रिया व्यक्त की।
फारूकी ने एक शायरी के साथ अपने बयान की शुरुआत करते हुए कहा कि तहजीब और शिष्टाचार सबसे महत्वपूर्ण हैं। उन्होंने कहा कि ओवैसी द्वारा “रंग-बिरंगा जोकर” कहने का संदर्भ सूफी और भगवा रंगों से जुड़ा है, जिसे सूफी संत ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती ने 800 साल पहले भारत में अपनाया था। उनका मानना है कि ओवैसी ने उनका नहीं, बल्कि पूरे चिश्ती समुदाय का अपमान किया है। उन्होंने देशभर के चिश्ती समुदाय से ओवैसी का बहिष्कार करने की अपील की।
इसके अलावा, दरगाह बोर्ड और वक्फ बिल के मुद्दे पर भी उन्होंने ओवैसी की आलोचना की। फारूकी का कहना है कि वक्फ बोर्ड की समस्याओं को देखते हुए दरगाह बोर्ड के गठन का प्रस्ताव दिया गया है ताकि दरगाहों की आवाज सुनी जा सके। उन्होंने जोर देकर कहा कि ओवैसी ने दरगाह शरीफ से जुड़े तथ्यों की सही जानकारी नहीं ली है।