संघ की शाखाओं में होता था अप्राकृतिक यौन शोषण, एनल सेक्स से पीड़ित सॉफ्टवेयर इंजीनियर ने मौत को लगाया गले, प्रियंका गांधी ने की गहराई से जांच की मांग

तिरुवनंतपुरम (केरल):
केरल के तिरुवनंतपुरम में 26 वर्षीय सॉफ्टवेयर इंजीनियर आनंदु अजी की आत्महत्या मामले ने राजनीतिक और सामाजिक हलकों में सनसनी फैला दी है। बताया जा रहा है कि आनंदु ने 9 अक्टूबर को आत्महत्या करने से पहले 15 पन्नों की सुसाइड नोट लिखी थी, जिसमें उन्होंने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के कुछ पदाधिकारियों पर लैंगिक शोषण के गंभीर आरोप लगाए हैं।
इस घटना पर कांग्रेस की वरिष्ठ नेता और वायनाड की सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा ने एक्स (ट्विटर) पर पोस्ट करते हुए जांच की मांग की। उन्होंने कहा कि “यदि सुसाइड नोट में लिखे आरोप सही हैं, तो यह बेहद भयावह मामला है। पूरे देश में लाखों बच्चे और युवा संघ की शाखाओं में जाते हैं, इसलिए इस प्रकरण की गहराई से जांच होनी चाहिए।”
इस विवाद पर अब आरएसएस की ओर से आधिकारिक प्रतिक्रिया सामने आई है।
“दक्षिण केरल, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ” के लेटरहेड पर जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में संघ ने कहा है कि “आनंदु अजी का असामान्य निधन अत्यंत दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण है। कोट्टयम जिला संघ प्रशासन से मांग करता है कि इस मामले की निष्पक्ष और विस्तृत जांच की जाए। साथ ही, सोशल मीडिया पर वायरल हुई चिट्ठी की भी जांच की जानी चाहिए क्योंकि उसमें संघ पर संदिग्ध और निराधार आरोप लगाए गए हैं।”
यह पत्र दक्षिण केरल के प्रांत कार्यवाह के.बी. श्रीकुमार द्वारा हस्ताक्षरित है। उन्होंने लिखा है कि “कोट्टयम जिले के एल्लिक्कुलम निवासी आनंदु अजी का परिवार कई वर्षों से संघ से जुड़ा हुआ है। उनके दिवंगत पिता अजी भी संघ के कार्यकर्ता थे। इस दुखद घड़ी में संघ परिवार आनंदु के परिजनों के साथ खड़ा है।”
संघ ने इस पत्र के माध्यम से जिला पुलिस प्रशासन से भी निष्पक्ष और स्वतंत्र जांच की मांग की है।
वहीं, पुलिस अधिकारियों के अनुसार, जांच दल ने आनंदु अजी के परिवार के सदस्यों और मित्रों के बयान दर्ज कर लिए हैं और मामले की विस्तृत जांच जारी है।
वायरल हो रही कथित सुसाइड नोट में आनंदु अजी ने लिखा है,
“जब मैं 3-4 साल का था, मेरे पिता मुझे संघ की शाखा में लेकर जाते थे। वहां कई लोगों ने मेरा यौन शोषण किया। इस घटना ने मेरे मन पर गहरा आघात छोड़ा। कई वर्षों तक अवसाद और मानसिक पीड़ा से जूझने के बाद मैंने अपने जीवन को समाप्त करने का निर्णय लिया है।”
यह मामला अब पूरे देश में चर्चा का विषय बन गया है और राजनीतिक स्तर पर भी इसकी गंभीर जांच की मांग उठ रही है।
